World No Tobacco Day 2025: विश्व तंबाकू निषेध दिवस हर साल 31 मई को मनाया जाता हैं। इस दिन को मनाने की शुरुआत 1987 में विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) द्वारा की गई थी। इस दिन का उद्देश्य तंबाकू के उपयोग के खतरों के बारे में जागरूकता फैलाना है। इस दिन का माध्यम से लोगों को तंबाकू से दूर रहने के लिए प्रेरित किया जाता है। तंबाकू नियंत्रण नीतियों को बढ़ावा देने के रास्ते खोजे जाते हैं। लोगों को उनके शारीरिक व मानसिक स्वास्थ्य के लिए जागरूक किया जाता है। तंबाकू एक धीमा ज़हर है, जिसका सेवन लाखों लोगों की जान लेता है। चाहे यह सिगरेट, बीड़ी, गुटखा, जर्दा, खैनी या हुक्का हो। तंबाकू से सेवन से कई गंभीर बीमारियां हो सकती हैं। आइए जानते हैं इन बीमारियों के बारे में।
फेफड़ों का कैंसर
तंबाकू के सेवन से फेफड़ों के कैंसर हो सकता है। यह एक गंभीर बीमारी होती है। सगरेट में मौजूद रसायन फेफड़ों की कोशिकाओं को क्षतिग्रस्त कर देते हैं और कैंसर को जन्म देते हैं। इसलिए न तो स्वयं तंबाकू का सेवन करें और न ही दूसरों को करने दें।
स्ट्रोक या मस्तिष्कघात
तंबाकू का सेवन इतना खतरनाक हो सकता है कि इससे मस्तिष्कघात भी हो सकता है। इसके सेवन से रक्त वाहिकाएं सख्त हो जाती हैं, जिससे मस्तिष्क में रक्त प्रवाह बाधित होता है।
हृदय रोग
तंबाकू के सेवन से हृदय रोग हो जाता है। इससे तंबाकू ब्लड प्रेशर और कोलेस्ट्रॉल के स्तर को बढ़ाता है। जिस कारण हृदय की धमनियाँ संकरी हो जाती हैं और दिल का दौरा या स्ट्रोक का खतरा कई गुना बढ़ जाता है। दिल को स्वस्थ्य रखने के लिए तंबाकू से दूर रहें।
क्रॉनिक ऑब्सट्रक्टिव पल्मोनरी डिज़ीज़ COPD
तंबाकू के सेवन से सांस लेने में कठिनाई होती है। इससे फेफड़ों की कार्यक्षमता घट जाती है। यह समस्या इतनी अधिक बढ़ जाती है कि मरीज को ऑक्सीजन सिलेंडर पर निर्भर बना सकता है।
मुँह और गले का कैंसर
गुटखा, पान मसाला, खैनी जैसे तंबाकू को चबाने से भी कैंसर हो सकता है। इसके सेवन से मुँह, जीभ, गले और गाल की अंदरूनी परत को नुकसान पहुंचाता है। भारत में मुँह के कैंसर के मामलों की संख्या दुनिया में सबसे ज्यादा है।
गर्भवती महिलाओं और नवजात शिशुओं पर प्रभाव
गर्भवती महिलाएं यदि तंबाकू सेवन करती हैं तो उन्हें गर्भपात या शिशु में जन्मजात विकृति की आशंका बढ़ जाती है। इसलिए गर्भवती महिलाओं को इसके सेवन से बचना चाहिए।
डिस्क्लेमर- इस लेख में दी गई जानकारी इंटरनेट, लोक मान्यताओं और अन्य माध्यमों से ली गई है। जागरण टीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है।