Mahavir Jayanti 2025 Date: महावीर जयंती विशेष रूप से जैन धर्म के अनुयायियों द्वारा मनाया जाता है। यह दिन जैन धर्म के 24वें तीर्थंकर भगवान महावीर स्वामी के जन्म दिवस के रूप में मनाया जाता है। भगवान महावीर के अनुयायी इस दिन उनके उपदेश को याद करते हैं। भगवान महावीर जैन धर्म के चौबीसवें (24वें) तीर्थंकर थे। उनके बचपन का नाम वर्धमान था उन्हें वीर, अतिवीर और सहमति के नाम भी जाना जाता है। भगवान महावीर ने समाज को नैतिकता, करुणा और अहिंसा के मार्ग पर चलना सीखाया। भगवान महावीर ने अपने जीवनकाल में कई ऐसी शिक्षाएं दी है जो आज भी प्रासंगिक हैं। आइए जानते हैं कब मनाई जाएगी महावीर जयंती और महत्व।
महावीर जयंती का उनके अनुयायियों के लिए बहुत महत्व रखता है। भगवान महावीर ने पांच सिद्धांतों को पंच महाव्रत या पंचशील सिद्धांत कहा जाता है जिन्होंने जैन धर्म की नींव रखी। यह सिद्धांत हैं अहिंसा, सत्य, अचौर्य, ब्रह्मचर्य और अपरिग्रह। सत्य यानि किसी भी स्थिति में झूठ का साथ न देना, सत्य के मार्ग पर चलना अस्तेय यानि संयम से रहना। ब्रह्मचर्य यानि भोग-विलास से दूरी रहना और इंद्रियों को अपने वश में रखना। अपरिग्रह यानि भोग से जुड़ी वस्तुओं का त्यागना। भगवान महावीर ने आत्मानुशासन, संयम और नैतिकता के मार्ग दिखाया। इस दिन जैन मंदिरों में विशेष पूजा और धार्मिक प्रवचनों का आयोजन किया जाता है साथ ही शोभयात्राएं निकाली जाती हैं। भगवान महावीर ने अहिंसा का पाठ दुनिया को पढ़ाया। उन्होंने कहा कि किसी भी स्थिति में हिंसा नहीं करना चाहिए।
डिस्क्लेमर- इस लेख में दी गई जानकारी इंटरनेट, लोक मान्यताओं और अन्य माध्यमों से ली गई है। जागरण टीवी इसकी पुष्टि नहीं करता है।